Spread the love

खुद के लिये भी जियो

विपुल मिश्रा 

30 अक्टूबर 2003 से 11 नवंबर 2003 तक का मुझे कुछ याद नहीं।

आंखें खुलने पर ज़माने भर का दर्द आंखों में समेटे एक मजबूर बाप सामने था और एक डॉक्टर मुझसे कह रहा था, तुम इतने डैशिंग हैंडसम पर्सनॉलिटी वाले लड़के हो यार, शेव करो और नाश्ता करो।

मुझे उस दिन एक जबरदस्त कड़वे सच का एहसास हुआ।

वो ये कि इस भरी दुनिया में आपके लिए जो सबसे महत्वपूर्ण शख्स हैं, वो आप ही हैं। कोई और नहीं।

कोई भी और नहीं, आप आप और केवल आप।

एक मिनिट ठहरो, जहां भी हों, थोड़ा आंखें बंद करें अकेले में जाएं और सोचें, मैंने भी सोचा था।

आप अभी मर जाएं तो क्या होगा?

मैं थोड़ा रॉ हो रहा हूं।

मैं बताता हूं।

होगा ये कि आपके परिवार वालों को चिंता होगी कि सूर्यास्त से पहले लाश फुंक जाए।

कुछ लोग जिनके पैसे आप पर होंगे,गाएंगे कि हम ने इतना किया,अब क्या मांगें?

जिनके ऊपर आपके पैसे होंगे,वो बताएंगे नहीं या लौटाएंगे तो समाज में सबके सामने दिखाते हुए आपके परिवार को लौटाएंगे।

4 6 दिन बाद आपके पहचान वाले आपको भूल जायेंगे, महीना पंद्रह दिन में घर वाले। आपका अच्छा बुरा कोई भी बात नहीं करेगा 

वैसे इसमें बुरी बात नहीं। आप खेल में हैं ही नहीं तो जो खिलाड़ी खेल में हैं आपको याद करके अपना वक्त बरबाद क्यों करेंगे। आपके कमाए पैसे और घर किसी और के काम आएगा।

और मेरी असली बात यहीं से शुरू होती है।

खुद को महत्व दें।

आप जब तक हैं तभी तक दुनिया है।

बाद में कोई महत्व नहीं आपका।

दूसरों के ऊपर खुद को महत्व देने में कोई बुराई नहीं।

त्याग करना चाहते हैं तो ये समाज और परिवार छोड़ हिमालय चले जाएं यहां हैं तो दुनियादारी करो।

त्याग तपस्या की बात करने वालों के उदाहरण दूं?

बुद्ध संसार के सारे सुख भोग के विरक्त हुए थे। महावीर स्वामी राजा के लड़के थे सब करके सन्यास लिया।चाणक्य को राज्य बनाना था, और अभी गांधी की अय्याशी के किस्से मार्केट में हैं हीं।

ये सब त्यागी पुरूष थे?

बगैर भोग किए कोई बुद्ध नहीं बनता।

स्वार्थी बनके सुखी रहना ज्यादा अच्छा है बनिस्बत  दानी बनके दुखी रहने से।

वैसे भी धन की दूसरी गति भोग ही है।

बिलकुल ईमानदारी से मैं दान महत्वपूर्ण है जैसी बकवास पर विश्वास नहीं करता।

मेहनत महत्वपूर्ण है।

यहां आसमान से कोई किसी को पैसे नहीं देता, कमाना पड़ता है।

हाड़तोड़ मेहनत से।

अपने आप को महत्व दो।

कोई दूसरा तुम्हें यहां मोटिवेट करने नहीं आयेगा।तुम्हें कोई नीचे दिखाने आए, उसे जवाब दो।अपने लिए अपने सम्मान के लिए खड़े रहो। पैसे कमाओ और उन्हें अपने ऊपर खर्च भी करो, अपने लिए वक्त निकालो।

और हमेशा खेल में रहो।

तुम्हारे अलावा कोई और तुम्हारा है नहीं।

विपुल मिश्रा

सर्वाधिकार सुरक्षित – Exxcricketer.com 


Spread the love

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *